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खेल मंत्रालय ने ओवरसाइट कमेटी का कार्यकाल 2 हफ्ते बढ़ाया: WFI प्रेसिडेंट पर यौन शोषण के आरोपों की जांच कर रही है समिति

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नई दिल्ली7 मिनट पहले

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अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ देश के जाने माने पहलवान धरने पर बैठे थे। कई दिग्गज पहलवानों ने सिंह पर यौन शोषण के आरोप लगाए थे।

केंद्रीय खेल मंत्रालय ने भारतीय कुश्ती संघ (WFI) के अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह पर यौन शोषण के आरोप की जांच और कार्य संचालन के लिए गठित ओवरसाइट कमेटी का कार्यकाल 2 हफ्तों के लिए बढ़ा दिया है।

मंत्रालय ने गुरुवार को बताया कि कमेटी का कार्यकाल 2 हफ्तों के लिए बढ़ाया गया है। यह एक्सटेंशन कमेटी के कहने पर ही किया गया है। इससे पहले, मंत्रालय ने पूर्व रेसलर और राजनेता बबीता फोगाट को कमेटी में शामिल किया था।

याद दिला दें कि 20 जनवरी को देश के जाने माने रेसलर ने WFI अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह पर यौन शोषण के आरोप लगाए थे। इतना ही नहीं, करीब डेढ़ दर्जन रेसलर्स WFI अध्यक्ष के खिलाफ कार्यवाही की मांग पर दिल्ली के जंतर-मंतर मैदान पर धरने पर बैठ गए थे।

रेसलर्स की मांग पर फोगाट भी कमेटी में शामिल
23 दिन पहले पूर्व पहलवान और भाजपा नेता बबीता फोगाट को ओवरसाइट कमेटी में शामिल किया गया। इस कमेटी में फोगाट के अलावा एमसी मैरीकॉम, खेल रत्न योगेश्वर दत्त, द्रोणाचार्य पुरस्कार से सम्मानित तृप्ति मुरगुंडे, TOPS CEO राजगोपालन और राधा श्रीमन शामिल हैं। इससे पहले, धरने पर बैठे पहलवानों ने बबीता को कमेटी में शामिल करने की मांग की थी।

रेसलिंग के बाद बबिता भारतीय जनता पार्टी में शामिल हो गई थीं।

रेसलिंग के बाद बबिता भारतीय जनता पार्टी में शामिल हो गई थीं।

विनेश-पूनिया और साक्षी ने किए थे ट्विट
कमेटी बनाने के बाद विनेश-पूनिया ने दोपहर 3 बजे एक साथ ट्वीट किए, जबकि साक्षी ने दोपहर 3:40 बजे अकेले ट्वीट किया था। तीनों पहलवानों ने लिखा- हमें आश्वासन दिया गया था कि ओवरसाइट कमेटी के गठन से पहले हमसे परामर्श किया जाएगा। बड़े दुख की बात है कि इस कमेटी के गठन से पहले हमसे राय भी नहीं ली गई।

तीनों ही रेसलर्स ने अपने ट्वीट में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृहमंत्री अमित शाह और केंद्रीय खेल मंत्री अनुराग ठाकुर को टैग भी किया था।

खेल मंत्रालय की ओवरसाइट कमेटी पर सवाल उठाने से पहले विनेश फोगाट ने मंगलवार सुबह भी दो ट्वीट किए।

खेल मंत्रालय की ओवरसाइट कमेटी पर सवाल उठाने से पहले विनेश फोगाट ने मंगलवार सुबह भी दो ट्वीट किए।

दिग्गज मुक्केबाज मैरीकॉम की अगुवाई में बनी थी ओवरसाइट कमेटी
केंद्रीय खेल मंत्री अनुराग ठाकुर ने WFI अध्यक्ष के खिलाफ धरना देने वाले पहलवानों के साथ नई दिल्ली में अपने सरकारी आवास पर मीटिंग की थी। देर रात तक चली इस मीटिंग के बाद अनुराग ठाकुर ने पहलवानों के साथ मीडिया के सामने आकर कहा कि खेल मंत्रालय पूरे विवाद की जांच के लिए कमेटी बनाएगा, जो 4 हफ्ते में रिपोर्ट देगी। कमेटी की जांच पूरी होने तक बृजभूषण सिंह WFI का कामकाज नहीं देखेंगे।

विवाद में रेसलर गीता फोगाट की एंट्री
तीनों पहलवानों के ओवरसाइट कमेटी से जुड़े ट्वीट के बाद इस विवाद में ‘दंगल गर्ल’ गीता फोगाट ने भी एंट्री ले ली। गीता फोगाट ने मंगलवार शाम 4.18 बजे PMO, केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह और केंद्रीय खेल मंत्री अनुराग ठाकुर को टैग करते हुए ट्वीट किया था। गीता ने लिखा- मैं देश के माननीय प्रधानमंत्री जी से निवेदन करती हूं हमारे देश की सभी बहन-बेटियां आपकी तरफ बहुत आशा और उम्मीदों से देख रही हैं। अगर हम सब बहन-बेटियों को न्याय नहीं मिला, तो यह देश के इतिहास के लिए बहुत बड़ा दुर्भाग्य होगा।

गौरतलब है कि गीता और उनकी बहन बबीता ‘फोगाट सिस्टर्स’ के नाम से मशहूर हैं। बबीता फोगाट BJP जॉइन कर चुकी हैं। पहलवानों ने जब WFI अध्यक्ष के खिलाफ दिल्ली में जंतर-मंतर पर धरना शुरू किया था तब बबीता फोगाट भी वहां पहुंची थी और दावा किया था कि केंद्र सरकार इस विवाद को बहुत जल्द हल करवा देगी।

बजरंग ने अर्जुन अवॉर्डी कोच के आरोपों का किया समर्थन
बजरंग पूनिया ने भी अर्जुन अवॉर्डी कुश्ती कोच कृपाशंकर बिश्नोई के आरोपों का समर्थन किया था। कोच बिश्नोई ने अपने आरोपों में कहा था कि कुश्ती में कई गड़बड़ियां हैं, मैंने भी शिकायत की थी, मगर सुनवाई नहीं हुई।

बिश्नोई ने 17 दिसंबर 2022 को भारतीय कुश्ती संघ को मेल के जरिए 28 रेफरी के नाम सहित जानकारी दी थी और उन्हें नौसिखिया कहा था। उन्होंने कुश्ती के नए नियमों पर भी सवाल खड़े किए थे, लेकिन इस पर ध्यान नहीं दिया गया। नियमों को लेकर जब उन्होंने आपत्ति दर्ज करवाई तो उन्हें हटा दिया गया था।

बिश्नोई ने कहा था कि यहां चहेतों को फायदा पहुंचाया जा रहा है। खिलाड़ियों का तो लंबा-चौड़ा नुकसान हो चुका है क्योंकि फेडरेशन के सहायक सचिव विनोद तोमर चेहरा देखकर तय करते हैं कि आपकी उम्र क्या है? वे जन्म प्रमाण पत्र को नहीं मानते। 3-4 साल पहले ही जन्म प्रमाण पत्र का नियम लागू हुआ है। कोई खिलाड़ी इसे बनवाकर लाता है तो इसे गलत माना जाता है।

WFI-रेसलर्स विवाद में कब क्या-क्या हुआ, पढ़ें…

1. 18 जनवरी को रेसलर्स ने दिल्ली जंतर-मंतर पर धरना शुरू कर दिया। जिसमें विनेश फोगाट ने रोते हुए आरोप लगाए कि फेडरेशन अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह और कोच नेशनल कैंप में महिला रेसलर्स का यौन उत्पीड़न करते हैं। कुछ कोच तो सालों से यौन उत्पीड़न करते आ रहे हैं। बृजभूषण खिलाड़ियों के होटल में रुकते थे। जो नियमों के खिलाफ है। यहां तक कि उसी फ्लोर पर अपना कमरा रखते थे, जहां महिला पहलवान ठहरी होती हैं। वे जानबूझकर अपना कमरा खुला रखते थे। टोक्यो ओलिंपिक में हार के बाद WFI के अध्यक्ष ने मुझे खोटा सिक्का कहा। मानसिक रूप से प्रताड़ित किया। मैं हर दिन खुद को खत्म करने के बारे में सोचती थी।

2. 18 जनवरी को ही संघ अध्यक्ष बृजभूषण सामने आए। उन्होंने कहा कि मुद्दे तब सामने आते हैं जब नए नियम लाए जाते हैं। धरने पर बैठे पहलवानों ने ओलिंपिक के बाद किसी भी राष्ट्रीय टूर्नामेंट में हिस्सा नहीं लिया है। उन्होंने कहा कि किसी भी तरह का उत्पीड़न नहीं हुआ है। अगर हुआ है तो मैं फांसी पर लटक जाऊंगा। उन्होंने धरने को स्पॉन्सर्ड बताते हुए इसके पीछे हरियाणा कांग्रेस के राज्यसभा सांसद दीपेंद्र हुड्‌डा को बताया था। उन्होंने कहा था कि अब ये खिलाड़ी नेशनल लेवल पर भी खेलने योग्य नहीं रहे हैं। साथ ही ये कुश्ती पर अपना वर्चस्व स्थापित करना चाहते हैं। इसलिए यह सब किया गया है।

3. 19 जनवरी को खेल मंत्री अनुराग ठाकुर ने मीटिंग की। उन्होंने खिलाड़ियों से करीब पौने चार घंटे बातचीत की और कुश्ती संघ के अध्यक्ष के जवाब का इंतजार करने को कहा। पहलवानों को विभिन्न तरह के आश्वासन दिए गए। मगर बातचीत से पहलवान संतुष्ट नहीं हुए। उन्होंने उस दौरान मांग रखी कि WFI अध्यक्ष को हटाया जाए। इसके बाद उन्होंने कुश्ती संघ को भंग कराने की बात कही।

4. 20 जनवरी को खिलाड़ियों ने खेल मंत्री से बातचीत के बाद फिर से जंतर-मंतर पर धरना शुरू किया। अब यहां खिलाड़ियों के समर्थन में हरियाणा भर से खिलाड़ी पहुंचने लगे। यहां तक कि हरियाणा की खापों ने भी धरने को समर्थन दे दिया। चरखी दादरी से 7 खापों ने समर्थन में दिल्ली कूच किया। धीरे-धीरे धरना स्थल पर भीड़ बढ़ने लगी। यहां से आंदोलनकारी खिलाड़ियों ने ऐलान किया कि वे अब न्याय मिलने तक कोई कैंप जॉइन नहीं करेंगे। न ही वे किसी प्रतियोगिता में भाग लेंगे। अब वे खेल और खिलाड़ियों के हक की लड़ाई लड़ेंगे।

5. 21 जनवरी को आंदोलन बढ़ता देख भारतीय ओलिंपिक एसोसिएशन (IOA) ने जांच कमेटी बनाई। जिसकी अध्यक्ष पीटी ऊषा ने कमेटी की अध्यक्ष मैरीकॉम को बनाया। 7 सदस्यों की कमेटी बनाकर जांच करने के निर्देश दिए। इस कमेटी में बॉक्सर मैरीकॉम, तीरअंदाज डोला बनर्जी, बैडमिंटन प्लेयर अलकनंदा अशोक, फ्री स्टाइल कुश्तीबाज योगेश्वर दत्त, भारतीय भारोत्तोलन महासंघ के अध्यक्ष सहदेव यादव और 2 वकील शामिल हैं।

6. 21 जनवरी को अनुराग ठाकुर ने फिर मीटिंग की। देर रात 7 घंटे तक चली मीटिंग में खेल मंत्रालय ने एक ओवरसाइट कमेटी बनाने का फैसला लिया। यह कमेटी जांच पूरी होने तक कुश्ती संघ का काम देखेगी। कमेटी आरोपों की जांच भी करेगी। ओलिंपिक मेडल विजेता मुक्केबाज एमसी मैरीकॉम को ही इस पांच मेंबर्स वाली समिति का अध्यक्ष बनाया गया है। ठाकुर ने इसकी जानकारी देते हुए बताया था कि कमेटी 4 सप्ताह के अंदर अपनी रिपोर्ट सौंपेगी। इन आश्वासनों के बाद पहलवानों ने धरना खत्म कर दिया।

7. 23 जनवरी को अनुराग ठाकुर ने 5 मेंबरी ओवरसाइट कमेटी बनाने की जानकारी देते हुए उसके सदस्यों के नाम का ऐलान किया था। कमेटी का प्रमुख विश्व चैंपियन मुक्केबाज मैरी कॉम को बनाया गया, जबकि इसके सदस्यों में ओलंपिक मेडल विजेता रेसलर योगेश्वर दत्त, द्रोणाचार्य पुरस्कार से सम्मानित तृप्ति मुरगुंडे, TOPS CEO राजगोपालन और राधा श्रीमन शामिल थे।

8. 24 जनवरी को पहलवानों ने आरोप लगाया था कि खेल मंत्रालय ने कमेटी गठित करने से पहले हमसे राय नहीं ली। इतना ही नहीं, पहलवानों ने बबिता फोगाट को कमेटी में शामिल करने की मांग की थी।

9. 31 जनवरी को खेल मंत्रालय ने पूर्व रेसलर और भाजपा नेता बबिता फोगाट को ओवरसाइट कमेटी में शामिल किया था।

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WFI विवाद में WWE रेसलर की एंट्री:कविता दलाल बोलीं- पूर्व IPS के उत्पीड़न की वजह से छोड़ी रेसलिंग; विनेश को देख हिम्मत आई

भारतीय कुश्ती संघ (WFI) और पहलवानों के बीच जारी विवाद में हरियाणा के जींद की WWE रेसलर कविता दलाल की भी एंट्री हुई है। कविता ने कहा- मुझे भी उत्पीड़न की वजह से रेसलिंग छोड़नी पड़ी। मैंने भी वेटलिफ्टिंग फेडरेशन के अध्यक्ष पूर्व IPS की प्रताड़ना के कारण रेसलिंग छोड़ी थी पूरी खबर पढ़ें

योगेश्वर दत्त ने साक्षी मलिक पर दागे सवाल:बोले- वे खुद रेसलिंग फेडरेशन कमेटी मेंबर, यौन शोषण हुआ तो किसी को क्यों नहीं बताया?

कुश्ती संघ और पहलवानों के विवादों में हरियाणा के 2 दिग्गज रेसलर आमने-सामने हो गए हैं। योगेश्वर दत्त ने ओलिंपिक मेडलिस्ट रेसलर साक्षी मलिक की चुप्पी पर सवाल खड़े किए हैं। योगेश्वर ने कहा- रेसलिंग फेडरेशन में भी कमेटी थी, जो महिलाओं के मामले देखती थी। उसकी सदस्य साक्षी मलिक हैं। उनके सामने ऐसी बात थी तो उन्होंने कभी SAI, खेल मंत्रालय, गृह मंत्रालय को क्यों नहीं बताया। पढ़ें पूरी खबर

IOA जांच कमेटी के मेंबर योगेश्वर दत्त का पहला इंटरव्यू: पहलवानों को FIR भी करानी चाहिए

योगेश्वर दत्त ने कहा कि पहलवानों को इसकी पुलिस को शिकायत देकर FIR दर्ज करवानी चाहिए। वे यह भी बोले कि अगर बहन-बेटी से यौन उत्पीड़न हुआ है तो कोर्ट उसकी सजा देगा, पूरा देश भी यही चाहता है। पढ़िए बातचीत के प्रमुख अंश…

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