- Hindi News
- Business
- National Asset Reconstruction Company To Be Operational Next Month: IBA CEO
Ads से है परेशान? बिना Ads खबरों के लिए इनस्टॉल करें दैनिक भास्कर ऐप
नई दिल्ली30 मिनट पहले
- कॉपी लिंक
- IBA के सीईओ ने कहा- सरकारी-प्राइवेट बैंकों की भागीदारी से होगी स्थापना
- बैड बैंक की स्थापना से नॉन-परफॉर्मिंग असेट्स की रिकवरी काफी बेहतर होगी
नेशनल असेट री-कंस्ट्रक्शन कंपनी लिमिटेड (NARCL) या बैड बैंक अगले महीने यानी जून से शुरू हो सकता है। इंडियन बैंक्स एसोसिएशन के सीईओ सुनील मेहता ने यह बात कही है। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने वित्त वर्ष 2021-22 का बजट पेश करते हुए बैड बैंक की घोषणा की थी। बैंकों की फंसे हुए कर्ज या बुरी संपत्ति को टेकओवर करने और उनका समाधान करने वाले वित्तीय संस्थान को बैड बैंक कहा जाता है।
सरकारी और प्राइवेट बैंकों की भागीदारी रहेगी
न्यूज एजेंसी पीटीआई से बातचीत में सुनील मेहता ने कहा कि बैड बैंक की स्थापना में सरकारी और प्राइवेट बैंकों की भागीदारी रहेगी। बैड बैंक को तैयार करने के लिए विभिन्न प्रकार के कार्य जारी हैं। हमें उम्मीद है कि यह अगले महीने से शुरू हो जाएगा। उन्होंने कहा कि बैड बैंक का सबसे बड़ा फायदा पहचाने गए नॉन-परफॉर्मिंग असेट्स (NPAs) को एकत्र करना रहेगा।
यह रिकवरी में काफी बेहतर रहेगा
उन्होंने कहा कि बैड बैंक NPA की रिकवरी में काफी बेहतर रहेगा। इसका कारण यह है कि इससे विभिन्न बैंक जुड़े होंगे। अभी बैड लोन की समस्या को सुलझाने में काफी समस्याएं आती हैं। मेहता ने कहा कि बैंकों की ओर से पहचान किए गए बैड लोन को बैड बैंक टेकओवर करेगा। उन्होंने कहा कि लीड बैंक NPA की बिक्री का ऑफर पेश करेगा। वहीं, अन्य असेट री-कंस्ट्रक्शन कंपनियों को NPA खरीदने के लिए आमंत्रित किया जाएगा।
असेट मैनेजमेंट कंपनी के रूप में होगी स्थापना
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 1 फरवरी बैंकिंग सेक्टर के NPA संकट से निपटने के लिए एक संस्थान के गठन की घोषणा की थी। यह असेट री-कंस्ट्रक्शन कंपनी (ARC) या असेट मैनेजमेंट कंपनी (AMC) जैसा संस्थान होगा। सामान्य तौर पर इसे बैड बैंक कहा जाएगा। बैड बैंक बैंकिंग सेक्टर के एनपीए का प्रोफेशनल तरीके से समाधान करेगा।
IBA ने पिछले साल दिया था प्रस्ताव
NPA के आसान समाधान के लिए IBA ने पिछले साल बैड बैंक की स्थापना का प्रस्ताव दिया था। सरकार ने इस प्रस्ताव को मानते हुए सेट री-कंस्ट्रक्शन कंपनी (ARC) या असेट मैनेजमेंट कंपनी (AMC) की तर्ज पर बैड बैंक खोलने की बात कही। मेहता का कहना है कि बैड बैंक लोन की वैल्यू का 15% कैश में देगा। शेष 85% वैल्यू सरकार की ओर से गारंटिड सिक्योरिटी के रूप में दी जाएगी। यदि वैल्यू के मुकाबले में नुकसान होता है तो सरकारी गारंटी को भुनाया जा सकेगा।
बैड बैंक को फ्रॉड लोन नहीं दिए जाएंगे
रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया यानी आरबीआई का कहना है कि फ्रॉड घोषित किए गए लोन बैड बैंक को नहीं दिए जाएंगे। आरबीआई की वार्षिक रिपोर्ट के मुताबिक, मार्च 2020 तक 1.9 लाख करोड़ रुपए के लोन को फ्रॉड घोषित किया गया था। आरबीआई ने असेट री-कंस्ट्रक्शन कंपनी को लेकर 2003 में रेगुलेटरी गाइडलाइंस जारी की थी।
नया नहीं है बैड बैंक का आइडिया
NPA की समस्या से निपटने का यह आइडिया नया नहीं है। 2018 में सरकार ने PSB की समस्या से निपटने के लिए ‘प्रोजेक्ट सशक्त’ लाने की घोषणा की थी। इसमें PSB के बैड लोन री-कंस्ट्रक्शन के लिए पांच पॉइंट की योजना बनाई गई थी।
क्या है बैड बैंक?
बैड बैंक सामान्य बैंक की तरह नहीं होता। इसका संबंध सिर्फ NPA से है। बैड बैंक को असेट रिकंस्ट्रक्शन कंपनी (एआरसी) भी कहा जाता है। यह दूसरे बैंकों के NPA को खरीदता है, और धीरे-धीरे उन कर्जों की वसूली करता है। इस तरह, लोन देने वाले बैंक की बैलेंस शीट में NPA कम हो जाता है।
आम बैंकों से कितना अलग होगा बैड बैंक?
बैड बैंक सामान्य बैंकों की तरह काम नहीं करते हैं। यानी ये पैसे जमा करने, खाता खोलने या लोन देने का काम नहीं करते। इसलिए, आम नागरिक इन बैंकों के साथ लेन-देन नहीं कर पाएंगे। ये बैंक किसी बैंक की तरह नहीं, बल्कि कंपनी की तरह काम करेंगे। आम नागरिकों की जमा पूंजी से उनका कोई लेना-देना नहीं होगा।
Stay connected with us on social media platform for instant update click here to join our Twitter, & Facebook
We are now on Telegram. Click here to join our channel (@TechiUpdate) and stay updated with the latest Technology headlines.
For all the latest Business News Click Here
For the latest news and updates, follow us on Google News.